मलिन बस्तियों में वर्ष 2024 तक अतिक्रमण न हटाने का कैबिनट ने लिया निर्णय

 

मलिन बस्तियों में वर्ष 2024 तक अतिक्रमण न हटाने का कैबिनट ने लिया निर्णय

-राज्य कैबिनेट की बैठक में लिए गए कई अहं निर्णय

-डिग्री कालेज के गेस्ट टीचर का मानदेय बढ़ाकर 35 हजार रुपये प्रतिमाह करने का लिया गया निर्णय

पहाड़वासी

देहरादून। राज्य कैबिनेट की बैठक में कई महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए। विधानसभा मानसून सत्र के लिए सरकार ने 5374 करोड़ रुपये के अनुपूरक बजट को मंजूरी दी है। सरकार ने मलिन बस्तियों में वर्ष 2024 तक अतिक्रमण न हटाने का निर्णय किया है। डिग्री कालेज के गेस्ट टीचर का मानदेय बढ़ाकर 35 हजार रुपये प्रतिमाह करने का फैसला लिया है।

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की अध्यक्षता में सोमवार शाम को कैबिनेट बैठक आयोजित की गई। 23 अगस्त से शुरू हो रहे विधानसभा मानसून सत्र के लिए सरकार ने 5374 करोड़ रुपये के अनुपूरक बजट को मंजूरी दी है। सचिवालय में आयोजित कैबिनेट बैठक में 21 प्रस्तावों में से 20 पर मुहर लग गई। कैबिनेट मंत्रियों ने मलिन बस्तियों को तीन साल और सुरक्षा कवच देने का फैसला लिया है। उत्तराखंड की 584 मलिन बस्तियों को तीन साल के लिए अतिक्रमण हटाओ अभियान से सुरक्षा कवच मिल गया। सरकार ने मलिन बस्तियों में वर्ष 2024 तक अतिक्रमण न हटाने का निर्णय किया है। वर्ष 2018 में भी सरकार तीन साल तक अतिक्रमण अभियान से अलग रखने का निर्णय किया था। वह अवधि इस साल अक्टूबर में समाप्त हो रही थी। जाति प्रमाणपत्र में बंगाली समुदाय से पूर्वी पाकिस्तान शब्द भी हटाया जाएगा। कैबिनेट मीटिंग में डिग्री कॉलेज का मामले पर भी विचार-विमर्श किया गया। सरकार ने प्रदेशभर के डिग्री कालेज के गेस्ट टीचर का मानदेय बढ़ाकर 35 हजार रुपये प्रतिमाह करने का फैसला लिया है। अब तक यह दर अलग-अलग थी।

सिंचाई विभाग में मेट कैडर को समूह ग में रखा गया, भर्तियां अधीनस्थ चयन आयोग करेगा। हिमालयन गढ़वाल विश्वविद्यालय का नाम महाराज अग्रसैन विश्वविद्यालय किया गया। यूएसनगर में फ्लोटिंग पावर प्लांट लगाने का फैसला वापस ले लिया गया। उत्तराखण्ड डेरी विकास अधीनस्थ सेवा नियमावली 2021 का गठन। श्री बदरीनाथ धाम मास्टर प्लान तथा केदारनाथ मास्टर प्लान के अंतर्गत प्रस्तावित कार्यों की पीएमसी हेतु कंसल्टेंट के रूप में चयन किया गया है। बदरीनाथ धाम मास्टर प्लान फेज 1 में 09 सरकारी कार्यालय को ध्वस्थ करने का निर्णय लिया गया।

उत्तराखण्ड नगर निकाय एवं प्राधिकरणों हेतु विशेष प्राविधानों के अंतर्गत 2018 की धारा 4 के अधीन नगर निकायों एवं प्राधिकरण क्षेत्र के अंतर्गत अनधिकृत निर्माण से संबंधित दंडात्मक कार्यवाही आगामी 03 वर्षों तक रखा जायेगा।

वर्तमान में लागू उत्तराखण्ड लेखा परीक्षा नियम संग्रह 2011 को प्रतिस्थापित करते हुए नवीन उत्तराखण्ड लेखा परीक्षा नियम संग्रह लागू किया जायेगा। राजकीय नर्सिंग कॉलेज बाजपुर में 70 पदों का सृजन किया गया। हिमालयन गढ़वाल विश्व विद्यालय का नाम संशोधन करके महाराजा अग्रसेन हिमालयन विश्व विद्यालय किया गया। उच्च शिक्षा के अंतर्गत सभी श्रेणी प्रातः कालीन, गेस्ट टीचर, संविदा टीचर, नितांत स्थायी टीचर को मानदेय के रूप में 35 हजार रूपये देने का निर्णय लिया गया। उत्तराखण्ड सिंचाई विभाग में मेट (समूह ग) सेवा नियमावली बनाई गयी। राज्य में फ्लोटिंग पावर संयंत्र पर पुनर्विचार करके वापस लिया गया। उत्तराखण्ड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग में समीक्षा अधिकारी एवं वैयक्तिक सहायक के पदों पर संविलियन नियमावली 2021 को लाया गया। उत्तराखण्ड राज्य में निवासरत पूर्वी पाकिस्तान (वर्तमान में बांग्लादेश) के विस्थापित बंगाली समुदाय के व्यक्तियों को जारी किये जाने वाले प्रमाण पत्र में पूर्वी पाकिस्तान (बांग्लादेश) से विस्थापित के स्थान पर पूर्वी बंगाल से विस्थापित का अंकन किया जायेगा। अनुसूचित जाति, जनजाति व सामान्य वर्ग की विधवा पेंशन प्राप्त कर रही विधवाओं की पुत्री के विवाह हेतु अनुदान की अहर्ता 15 हजार से बढ़ाकर 48 हजार की गयी। 2021-22 के लिये मदिरा दुकानों का आवंटन 622 में से शेष बची 25 दुकानों के लिये 50 प्रतिशत निर्धारित राजस्व आवंटन के समय लिया जायेगा। उत्तराखण्ड केंद्रीय विद्युत नियामक प्रतिवेदन 2004 की धारा 104 के वित्तीय वर्ष का लेखा जोखा विधान मण्डल के पटल पर रखा जायेगा।

उत्तराखण्ड केंद्रीय विद्युत नियामक प्रतिवेदन 2004 की धारा 105 के वार्षिक रिपोर्ट का लेखा जोखा विधान मण्डल के पटल पर रखा जायेगा। कोविड प्रभाव के कारण परिवहन निगम को 16 करोड़ 17 लाख की धनराशि देने का निर्णय लिया गया। उत्तराखण्ड माल सेवा कर 2021 विधेयक को पुनर्स्थापित कर विधान मण्डल के पटल पर रखा जायेगा

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